उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद में बजरंगदल के गुंडों ने एक मुस्लिम दुकानदार की जूस की दुकान को बंद कराने के लिए इकठ्ठे होकर उत्पात मचाया, मुस्लिम दुकानदार की पिटाई की, उसकी दुकान में तोड़फोड़ किया और नारेबाजी की।
बजरंगियों का आरोप है कि मुस्लिम दुकानदार शब्बू ख़ान ने अपनी जूस की दुकान का नाम ‘साईं जूस सेंटर’ रखा और लव जिहाद को भी बढ़ावा दे रहा है।
वहीं मुरादाबाद पुलिस ने बयान देकर कहा है कि उक्त प्रकरण के सम्बन्ध में थाना मझोला पर सुसंगत धाराओं में अभियोग पंजीकृत किया गया है, अन्य वैधानिक कार्यवाही जारी है। मझोला थाना प्रभारी धनंजय सिंह ने दोषियों के ख़िलाफ़ उचित कार्रवाई का आश्वासन देते हुए कहा है कि – “हमने पाया कि नवनीत शर्मा के नेतृत्व में क़रीब 20-25 लोगों ने जूस की दुकान को जबरदस्ती बंद करा दिया था। उन्होंने इसके मालिक को थप्पड़ भी मारा। हमने शर्मा और उनके सहयोगियों के ख़िलाफ़ आईपीसी की धारा 323 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाना), 504 (जानबूझकर अपमान), 506 (आपराधिक धमकी) और 147 (दंगा) के तहत प्राथमिकी दर्ज़ की है”।
बजरंग दल के उत्पातियों द्वारा दुकानदार शब्बू ख़ान के ख़िलाफ़ भी एक शिक़ायत दर्ज़ करायी गयी है। लेकिन पुलिस ने कहा कि दुकानदार के ख़िलाफ़ शिक़ायत “पर्याप्त रूप से आश्वस्त नहीं है क्योंकि वह आदमी 15 साल से दुकान चला रहा है और अब तक कोई समस्या नहीं हुई है।”
बजरंग दल के स्थानीय सरगना नवनीत शर्मा ने वायरल वीडियो में धमकी दिया है कि “साईं बाबा एक हिंदू देवता हैं” और मुस्लिम मालिक को अपने दुकान का नाम ‘साईं जूस सेंटर’ बदलना चाहिए। उसने धमकी दिया है कि मुसलमानों द्वारा इलाके में चलाये जा रहे उन सभी दुकानों को बंद करवा दिया जायेगा, जो हिंदू देवी देवताओं के नाम पर हैं”।
वहीं इलाके के स्थानीय लोगों का दावा है कि पुलिस शुरू में मूकदर्शक बनी रही, जब यह सब चल रहा था और बाद में मुरादाबाद पुलिस ने जूस दुकान मालिक शब्बू खान को , ‘आगे की परेशानी से बचने के लिए’ दुकान का नाम बदलने की सलाह दी।
मामला तूल पकड़ने और घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद पुलिस ने बजरंग दल के एक स्थानीय सरगना नवनीत शर्मा और उनके सहयोगियों के ख़िलाफ़ शुक्रवार को “दंगा और आपराधिक धमकी” के लिए प्राथमिकी दर्ज़ की।
लोगों का कहना है कि घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद यह कार्रवाई की गई।
वहीं जूस की दुकान के मालिक, शब्बू खान घटना के बाबत बताते हैं – “मैं गुरुवार को घर पर खाना खाने गया था, तभी यह सुनकर मैं चौंक गया कि कुछ लोगों ने मेरी दुकान में तोड़फोड़ करना शुरू कर दिया। उन्होंने मुझे मेरी आस्था के कारण अपनी दुकान बंद करने के लिए कहा। यह दुकान मेरे जीवन का हिस्सा है और मेरे परिवार के लिए महत्वपूर्ण है।”
(जनचौक ब्यूरो की रिपोर्ट।)