त्रिपुरा हिंसा की जांच के लिए गए वकीलों के विरुद्ध लगाए गए यूएपीए के झूठे मामलों को लेकर दिल्ली में प्रदर्शन

नई दिल्ली। ट्रेड यूनियन संगठन एक्टू, छात्र संगठन आइसा, ऑल इंडिया लॉयर्स एसोसिएशन फ़ॉर जस्टिस इत्यादि ने आज दिल्ली स्थित त्रिपुरा भवन पर प्रदर्शन किया और रेजिडेंट कमिश्नर को ज्ञापन सौंपा। गौरतलब है कि हाल ही में त्रिपुरा के अंदर मुसलमानों पर हुई हिंसा के मामलों की जांच हेतु वकीलों की एक टीम त्रिपुरा गई थी। वहां की स्थितियों को लेकर उनके द्वारा एक रिपोर्ट भी जारी की गई। रिपोर्ट के जारी होने के उपरांत एक्टू के राज्य काउंसिल सदस्य एवं अधिवक्ता मुकेश व अधिवक्ता अंसार इंदौरी के ऊपर त्रिपुरा पुलिस द्वारा UAPA (Unlawful Activities (Prevention) Act) व अन्य  संगीन धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज कर दी गई।

राज्य दमन के द्वारा सच्चाई को सामने आने से रोकने का प्रयास कर रही है भाजपा सरकार

जहां एक तरफ त्रिपुरा में मुसलमानों के ऊपर हमला करने वाले बेखौफ घूम रहे हैं, वहीं दूसरी तरफ मामले की जांच के लिए गए अधिवक्ताओं की टीम को निशाना बनाया जा रहा है। जांच टीम की रिपोर्ट में साफ तौर पर संघ -भाजपा से जुड़े संगठनों का हाथ होने और मुख्यमंत्री बिप्लब देब की सरकार के संलिप्त होने की बात सामने आई है। त्रिपुरा में भाजपा सरकार आने के बाद से ही लोकतंत्र और आम लोगों के अधिकारों पर हमले बढ़े हैं। वामपंथी पार्टियों व जनसंगठनों के दफ्तरों से लेकर धरने-प्रदर्शनों पर सरकार समर्थित गुंडा-वाहिनी द्वारा हमले अब त्रिपुरा में आम बात हो गए हैं।

नवंबर महीने में त्रिपुरा के स्थानीय निकायों के चुनाव होने जा रहे हैं। ऐसे में ये हमले, चुनावों के ठीक पहले ध्रुवीकरण करने की कोशिश के तहत ही प्रतीत होते हैं। उत्तर प्रदेश समेत जिन विभिन्न राज्यों में चुनाव होने वाले हैं, वहां लगातार संघ-भाजपा द्वारा साम्प्रदायिक ध्रुवीकरण की कोशिशें की जा रही हैं। त्रिपुरा भी इससे अछूता नहीं रहा।

लोकतंत्र के लिए अत्यंत दुःखद घटना – मानवाधिकार संगठनों और कार्यकर्ताओं को निशाना बनाना अत्यंत निंदनीय

अधिवक्ता मुकेश, ऑल इंडिया सेंट्रल काउंसिल ऑफ ट्रेड यूनियंस (एक्टू) के राज्य कमेटी सदस्य हैं और सफाई कर्मचारियों की यूनियन से जुड़े हुए हैं, वहीं अधिवक्ता अंसार इंदौरी त्रिपुरा गए जांच दल के सदस्य रहे हैं। प्रदर्शन में आए लोगों को संबोधित करते हुए एक्टू के दिल्ली राज्य अध्यक्ष संतोष राय ने अपनी बात रखते हुए कहा कि, “अगर त्रिपुरा की भाजपा सरकार ये समझती है कि UAPA लगाकर वो हमें डरा देगी तो वो सरासर गलत है। हम डरने वाले नहीं हैं। हम मांग करते हैं कि संघ-भाजपा के लोगों द्वारा मुसलमानों पर किये गए हमलों के सभी दोषियों को सज़ा दी जाए और कॉमरेड मुकेश व अधिवक्ता अंसार इंदौरी पर लगाए गए झूठे आरोप वापस लिए जाएं।”

उन्होंने अपनी बात खत्म करते हुए कहा कि लोकतंत्र में UAPA जैसे कानून की कोई जगह नहीं होनी चाहिए। सरकारों द्वारा ऐसे कानूनों के दुरुपयोग के चलते कई निर्दोष व्यक्ति आज भी जेलों में बंद हैं। उन्होंने आगे कहा कि अगर ये झूठे मामले खारिज नहीं हुए तो विरोध और व्यापक होगा।

(एक्टू दिल्ली राज्य कमेटी द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति पर आधारित)

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