Tuesday, March 19, 2024

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तीन देश, कहानी  एक: लोकतंत्र की पोशाक में निरंकुश सत्ताएं? 

 “ न हो कमीज़ तो पांवों से पेट ढंक लेंगे, ये लोग कितने मुनासिब हैं इस सफर के लिए।” ( दुष्यंत) अगस्त 1947 में श्वेत साम्राज्यवादी शासकों ने भारतीय उपमहाद्वीप को दो स्वतंत्र देशों में विभाजित किया था : भारत और पाकिस्तान।...

भारत दुनिया के सबसे बदतरीन निरंकुश देशों में से एक: स्वीडन के वी-डेम इंस्टीट्यूट की रिपोर्ट

हाल के सालों में भारत दुनिया के सबसे बुरे निरंकुश देशों में शुमार हो गया है। गुरुवार को जारी स्वीडन आधारित 'वेरायटी ऑफ डेमोक्रेसी इंस्टीट्यूट' की रिपोर्ट में यह बात कही गयी है।  'डेमोक्रेसी विनिंग एंड लूजिंग एट बैलेट’ शीर्षक...

जामनगर में वैभव की अश्लीलता और सेठ जी के चिड़ियाघर में बदलता भारत

1 से 3 मार्च तक भारत ने जो देखा वह एक धनकुबेर द्वारा अपने वैभव का अश्लील मुजाहिरा ही नहीं था बल्कि अपनी सम्पन्नता की विपुलता का सहारा लेकर देश की सभ्यता और उसमे बसी मनुष्यता के प्रति हिकारत...

पांच किलो की मोटरी तले जन, भारी गठरी के तले नायक: कैसे बचेगा लोकतंत्र!

अयोध्या के राम मंदिर में भगवान राम की प्राण-प्रतिष्ठा का कार्यक्रम हो चुका है। आयोजन की भव्यता और दिव्यता के राजनीतिक प्रभाव का प्रसार हो रहा है। राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस पार्टी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा...

क्या ममता बनर्जी वास्तव में एकला चलो के नारे के साथ आगे बढ़ गई हैं?

नई दिल्ली। अभी की ब्रेकिंग खबर सारे मीडिया आउटलेट्स में यही आ रही है कि तृणमूल कांग्रेस की मुखिया ममता बनर्जी ने पश्चिम बंगाल में अकेले चुनाव लड़ने की घोषणा कर दी है। इंडिया गठबंधन के लिए इसे बड़े...

भारत का नीतिगत ढांचा असमानता पर केंद्रित नहीं: अभिजीत बनर्जी और एस्थर दुफ्लो

इंडियन एक्सप्रेस की ओर से उदित मिश्रा ने 2019 नोबल पुरस्कार विजेता अभिजीत बनर्जी और एस्थर दुफ्लो से बातचीत की है, जिसका अनुवाद और संदर्भ इस रिपोर्ट में देने की कोशिश की गई है। वर्ष 2003 से द अब्दुल...

आईएमएफ की चेतावनी: भारत एक गहरे कर्ज संकट के मुहाने पर

पिछले साल दो बार अमेरिका की सरकार का शटडाउन हुआ। अमेरिकी सरकार की क़र्ज की सीमा पार हो गयी, कामकाज बंद होने की स्थिति आ गयी, खर्चे रुकने की स्थिति आ गयी। सरकार और विपक्ष को एक साथ बैठना...

चीनी घुसपैठ पर पर्दादारी: आखिर क्यों और किससे?

नई दिल्ली। भारतीय सैनिकों की वीरता कथा को भारतीय जनता से छिपाने की कोशिश अगर होती दिखे, तो यह सहज सवाल उठेगा कि आखिर ऐसा क्यों किया गया है और इसके पीछे मकसद क्या है? इन सवालों पर हम लौटेंगे।...

किसानों का दिल्ली कूच क्या देश के ज्वलंत सवालों को चुनावी एजेंडा के केंद्र में ले आएगा?

13 फरवरी को किसान संगठनों ने फिर दिल्ली कूच का ऐलान किया है। यह फैसला पंजाब के अमृतसर जिले के जंडियाला गुरु कस्बे में 2 जनवरी को 18 किसान-मजदूर संगठनों और संयुक्त किसान मोर्चा (गैर राजनीतिक) के संयुक्त आह्वान पर...

क्या गुल खिलाएगा रेड ब्रिगेड?

इन दिनों बंगाल की सियासत में एक सवाल बड़ी संजीदगी से पूछा जा रहा है कि रेड ब्रिगेड क्या गुल खिलाएगा? ब्रिगेड मैदान में डीवाईएफआई की कप्तान मीनाक्षी मुखर्जी ने अभूतपूर्व रिकॉर्ड बनाया है। इससे पहले भी वाम मोर्चा...

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एजेंडा यूपी को लेकर आईपीएफ ने की बैठक, रोजगार का सवाल हल करेगी जन राजनीति

सोनभद्र। दुध्दी के इस आदिवासी बाहुल्य अति पिछड़े इलाके में यदि खेती किसानी विकसित करने के लिए कनहर सिंचाई...