Category: राज्य
-
झारखंड में मोदी ‘जादू’ बेअसर, एनडीए का होगा बड़ा नुकसान
रांची। झारखंड में चार चरणों में होने वाले चुनाव में चौथे, पांचवें, छठे और सातवें चरण के तहत राज्य में 13, 20, 25 मई और 1 जून को मतदान होगा। झारखंड में लोकसभा की कुल 14 सीटें हैं। साल 2019 के लोकसभा चुनाव में एनडीए गठबंधन के आजसू पार्टी को एक और भाजपा को कुल…
-
मध्यप्रदेश: दलित का जख्मी पैर निगल रहा जिंदगी, इलाज हेतु आर्थिक मदद की है दरकार !
देश में इस वक्त चुनाव की सरगर्मी है। लोकसभा चुनाव को लेकर वोटिंग जारी है। इस बीच मध्यप्रदेश के सागर से एक गंभीर मामला सामने आ रहा है। सागर से सटे ढाना के अंतर्गत पिपरई गांव में एक दलित शख्स महेश बंसल का पैर अज्ञात बीमारी की चपेट में है। पैर की हालत इतनी खराब…
-
पलायन बिहार में क्यों नहीं बन रहा चुनावी मुद्दा ?
बिहार के भागलपुर स्थित चकरामी गांव के रहने वाले शत्रुघ्न लगभग पिछले 25 साल से हैदराबाद में रह रहे है। उन्हें याद नहीं है कि उन्होंने अंतिम वक्त कब मतदान किया था। शत्रुघ्न बताते हैं कि “वोट देकर लोकतंत्र में राजा बनाना किसे पसंद नहीं है। यहां से बिहार जाना एक संघर्ष से कम नहीं…
-
2024 का चुनाव लोकतंत्र और साझी विरासत को बचाने का चुनाव है: दीपंकर
झारखंड के कोडरमा लोकसभा क्षेत्र के तिलैया स्थित शिव वाटिका सभागार में 28 अप्रैल 2024 को अयोजित एक जिला स्तरीय बूथ कार्यकर्ता कन्वेंशन को संबोधित करते हुए भाकपा माले के राष्ट्रीय महासचिव दीपांकर भट्टाचार्य ने कहा कि “हिंदुस्तान अभी तक के सबसे कठिनतम चुनावी दौर में है। बाबा साहब अम्बेडकर ने जिस जद्दोजहद और मेहनत…
-
वकीलों के हड़ताल से न्याय के शत्रु खुश होते हैं
मऊ, ‘‘तारीख पे तारीख…!” ‘लेकिन इंसाफ नहीं मिलता है।’ फिल्म ‘दामिनी’ का डायलॉग कोर्ट कचहरी को लेकर बहुत मशहूर है। जो सच है, बड़े आस के साथ लोग कोर्ट आते हैं। फिर लाचारी बेबसी से खाली हाथ लौट जाते हैं। यूपी में सभी तहसीलों पर राजस्व न्यायालय होता है। जिसमें काश्तकारी भूमि की पैमाइश, उत्तराधिकार,…
-
‘जल जीवन मिशन योजना’ झारखंड में साबित हो रहा है चूंचूं का मुरब्बा
केंद्र सरकार ने वर्ष 2019 में ‘जल जीवन मिशन योजना’ के तहत ‘हर घर नल-जल योजना’ शुरू की थी। जल जीवन मिशन योजना का लक्ष्य 2024 तक घरेलू नल कनेक्शन (एफएचटीसी) के माध्यम से प्रत्येक ग्रामीण परिवार के लिए पीने के पानी की पर्याप्त आपूर्ति सुनिश्चित करना है। लेकिन प्रशासनिक उदासीनता व भ्रष्टाचार ने जल…
-
ग्राउंड रिपोर्ट: किसानों की जरूरत और पराली संकट का समाधान
मुजफ्फरपुर। “हम लोग बहुत मजबूर हैं, समयानुसार खेतों की जुताई-बुआई करनी पड़ती है। खेतों में सिंचाई तो स्वयं कर लेते हैं, लेकिन तैयार फसलों की कटाई के समय बहुत दिक्कत होती है। एक मजदूर को कम-से-कम चार सौ रुपये चुकाना पड़ता है। मजदूर केवल फसलों की कटाई करके चले जाते हैं और खेतों से पराली…
-
AICCTU ने ऐप कर्मियों की मांगों को लेकर चलाया हस्ताक्षर अभियान, श्रमायुक्त को दिया ज्ञापन।
दिल्ली के लाखों ऐप कर्मचारी विषम परिस्थितियों और मनमानी छटनी से जूझ रहे हैं। उन्होंने कम प्रति ऑर्डर रेट, अपर्याप्त इंसेंटिव्स, और लंबे कार्य समय के खिलाफ दिल्ली भर में हस्ताक्षर अभियान चलाया। ऐप कर्मचारी एकता यूनियन ने बेहतर शर्तों और सुरक्षा की मांग करते हुए श्रमायुक्त कार्यालय में ज्ञापन दिया।
-
ग्राउंड रिपोर्ट: पुंछ में केसर उत्पादन की संभावनाएं बढ़ीं
जम्मू के पुंछ जिले में किसान एजाज़ अहमद पांच वर्षों से केसर की सफल खेती कर रहे हैं, जिसे जम्मू विश्वविद्यालय ने समर्थन दिया है। सरकार से फसल सुरक्षा की मांग करते हुए, अहमद पुंछ को प्रमुख केसर उत्पादन केंद्र बनाना चाहते हैं, जबकि महिला किसानों ने भी केसर उत्पादन में रुचि दिखाई है।