Friday, March 29, 2024

राम पुनियानी

मणिपुर, नूंह और ट्रेन में क़त्ल: सद्भाव की वापसी ज़रूरी

देश के अलग-अलग हिस्सों में भयावह हिंसा हो रही है। मणिपुर में पिछले तीन महीने से हिंसा जारी है। इसमें करीब 100 व्यक्ति अपनी जान गंवा चुके हैं और लगभग एक लाख बेघर हो गए हैं। मरने वालों में...

बहुसंख्यकवादी राजनीतिक एजेंडा और भारतीय मुसलमान

भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने पार्टी की जो नयी राष्ट्रीय कार्यकारणी घोषित की है, उसमें एक जाने-माने पसमांदा मुसलमान, अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) के पूर्व कुलपति तारिक मंसूर को तेरह उपाध्यक्षों में से एक नियुक्त किया गया...

इंडिया बनाम भारत या इंडिया जो भारत है?

पिछले नौ सालों से भाजपा हमारे देश पर शासन कर रही है। विपक्षी पार्टियों को धीरे-धीरे यह समझ में आया कि भाजपा सरकार न तो संविधान की मंशा के अनुरूप शासन कर रही है और ना ही उसकी रुचि...

भारत में प्रजातंत्र और राष्ट्रवाद: क्या सोचती है दुनिया?

मणिपुर में जारी हिंसा के शिकार मुख्यतः निर्दोष लोग हो रहे हैं। वे शरणार्थी शिविरों में रहने को मजबूर हैं। इस बीच प्रधामनंत्री नरेन्द्र मोदी की विदेश यात्राएं जारी हैं। अपने पूर्व कार्यकाल (2014-19) में उन्होंने विदेश यात्राओं का...

आदिवासी पर मूत्र विसर्जन: जातिगत अहंकार की इंतिहा

गत 6 जुलाई (2023) को मध्य प्रदेश में प्रवेश शुक्ला नाम के एक भाजपा कार्यकर्ता ने एक आदिवासी युवक पर पेशाब कर दी। प्रवेश उस इलाके के भाजपा विधायक का नजदीकी है। प्रवेश के इस कुकृत्य का उसके दोस्त...

एकरूपता या लैंगिक न्याय: ‘समान नागरिक संहिता’ का ड्राफ्ट कहां है?

विधि आयोग की अधिसूचना और प्रधानमंत्री मोदी की उसे लागू करने की जबरदस्त वकालत के चलते 'समान नागरिक संहिता' (यूसीसी) एक बार फिर चर्चा में है। चुनाव-दर-चुनाव, यूसीसी भाजपा के घोषणापत्रों का हिस्सा रही है। सन 1996 के घोषणापत्र...

क्या गांधी शांति पुरस्कार के लायक है गीता प्रेस?

भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय ने हिन्दू धार्मिक ग्रंथों की प्रकाशक गीता प्रेस को 2021 का गांधी शांति पुरस्कार प्रदान करने की घोषणा की है। यह एक प्रतिष्ठित पुरस्कार है, जिसमें 1 करोड़ रुपये नगद शामिल हैं। पूर्व में...

मणिपुर हिंसा: मोदी सरकार को जवाब देना होगा कि क्या यह हिंसा ईसाई-विरोधी है?

उच्च न्यायालय द्वारा मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति (एसटी) के रूप में मान्यता दिए जाने के बाद से मणिपुर में भड़की जबरदस्त हिंसा में अब तक कम से कम एक सौ लोग मारे जा चुके हैं और एक लाख...

अखंड भारत: सीमाएं समय के साथ बदलती रहती हैं?

क्या देशों के बीच की सीमाएं हमेशा एक सी बनी रहती हैं? या फिर समय के साथ बदलती रहती हैं? कई मौकों पर साम्राज्यों-सम्राटों और आधुनिक राष्ट्र-राज्यों की सीमाओं के बीच के फर्क को जानबूझकर नजरअंदाज किया जाता है।...

फिल्म ‘सावरकर’ का टीजर झूठ का पुलिंदा

देश में दक्षिणपंथी विचाधारा का बोलबाला बढ़ने के साथ ही ऐसी फिल्में बनाई जाने लगी हैं जो लोगों को बांटतीं हैं, सांप्रदायिक राष्ट्रवाद के नायकों को महिमामंडित करती हैं और कुछ समुदायों को खलनायक के रूप में प्रस्तुत करती...

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ग्रेट निकोबार द्वीप की प्राचीन जनजातियों के अस्तित्व पर संकट, द्वीप को सैन्य और व्यापार केंद्र में बदलने की योजना

आज दुनिया भर में सरकारें और कॉर्पोरेट मुनाफ़े की होड़ में सदियों पुराने जंगलों को नष्ट कर रही हैं,...