फ़िराक़ जैसा कोई दूसरा नहीं-मलिकज़ादा मंजूर अहमद

(मलिकज़ादा मंजूर अहमद, उर्दू हलक़े में किसी तआरुफ़ के मोहताज नहीं। 17 अक्टूबर, 1929 को अम्बेडकर नगर (उत्तर प्रदेश) में…

फिराक की पुण्यतिथिः हिंदुस्तान के माथे का टीका और उर्दू ज़बान की आबरू

‘‘एक उम्दा मोती, खु़श लहजे के आसमान के चौहदवीं के चांद और इल्म की महफ़िल के सद्र। ज़हानत के क़ाफ़िले…