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  • मोदी सरकार के 9 साल: भारत नहीं रहा धर्मनिरपेक्ष-संवैधानिक गणतंत्र!

    मोदी सरकार के 9 साल: भारत नहीं रहा धर्मनिरपेक्ष-संवैधानिक गणतंत्र!

    मोदी सरकार के 9 साल में भारत की जनता और लोकतंत्र ने क्या-क्या हासिल किया है और क्या खोया है। इसकी शिनाख्त करना आज वक्त की जरूरत है। आज जब मन की बात के सौवें संस्करण की प्रस्तुति को जनता के टैक्स के पैसे से बिग इवेंट में बदलने की कोशिश हो रही है, तब…

  • भारत के जनसंख्या विस्फोट में राजनीतिक अवसर

    भारत के जनसंख्या विस्फोट में राजनीतिक अवसर

    जनसंख्या वृद्धि के मामले में भारत के चीन से आगे निकलने के सामाजिक, आर्थिक और पर्यावरणीय परिणाम चाहे जो भी हों मगर धर्म के नाम पर राजनीति करने वालों को इस संकट में भी एक वोट कमाऊ अवसर मिल गया है। वैसे भी प्रधानमंत्री मोदी पहले ही जनसंख्या विस्फोट को भावी पीढ़ी के लिये संकट…

  • बिहार शरीफ सांप्रदायिक हिंसा की जांच करेगा माले, 11-14 अप्रैल तक सद्भावना एकजुटता जनसंवाद

    बिहार शरीफ सांप्रदायिक हिंसा की जांच करेगा माले, 11-14 अप्रैल तक सद्भावना एकजुटता जनसंवाद

    बिहार,जमुई। भाकपा-माले महासचिव दीपंकर भट्टाचार्य ने जमुई में आयोजित पार्टी राज्य कमेटी की बैठक के दूसरे दिन संवाददाताओं को संबोधित करते हुए कहा कि बिहार की स्थिति चिंतित करने वाली है। यहां के गरीबों के सामने वास-आवास, शिक्षा, रोजगार आदि के सवाल मुंह बाये खड़े हैं, लेकिन पूरे राज्य में रामनवमी का इस्तेमाल सांप्रदायिक हिंसा…

  • रामनवमी पर फसाद की टूल-किट और उसके वायरस

    रामनवमी पर फसाद की टूल-किट और उसके वायरस

    खुश होना सहज इंसानी गुण है, प्रसन्नता मानवीय स्वभाव है बल्कि सही कहा जाए तो उसकी जरूरत भी है, पहचान भी है। वर्ग विभाजित समाज में ज्यादातर लोगों के हिस्से में खुशियां नहीं आतीं। मगर हजार मुश्किलें भी व्यक्ति को प्रफुल्लित होने के बहाने ढूंढने से नहीं रोक पाती। तीज त्यौहार और पर्व सदियों से…

  • देश पर हिंदुओं-मुसलमानों के बराबर हक की गांधी की बात से डरती है बीजेपी: तुषार गांधी

    देश पर हिंदुओं-मुसलमानों के बराबर हक की गांधी की बात से डरती है बीजेपी: तुषार गांधी

    नई दिल्ली। एनसीईआरटी (NCERT) की किताबों से महात्मा गांधी से संबंधित पाठों को हटाने और छेड़छाड़ करने पर महात्मा गांधी के प्रपौत्र तुषार गांधी ने संघ-भाजपा पर तीखा हमला किया है। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी की “असली पहचान और विरासत” ने बीजेपी-आरएसएस को हमेशा “परेशान” किया है। उन्होंने कहा कि वह गांधी जी को…

  • रामनवमी हिंसा: नीतीश कुमार से मिले दीपंकर, सीएम बोले- गड़बड़ी करने वाले बख्शे नहीं जाएंगे

    रामनवमी हिंसा: नीतीश कुमार से मिले दीपंकर, सीएम बोले- गड़बड़ी करने वाले बख्शे नहीं जाएंगे

    पटना। रामनवमी मनाने के नाम पर बिहार में हुए तोड़-फोड़ और हिंसा के सुनियोजित अभियान के मसले पर भाकपा-माले महासचिव दीपंकर भट्टाचार्य ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से 4 अप्रैल की शाम मुलाकात की और अपनी चिंताएं उनके साथ साझा की। माले महासचिव ने मुख्यमंत्री से प्रशासनिक, सामाजिक और राजनीतिक धरातल पर भाजपा की…

  • रामनवमी जुलूस की आड़ में रची गई बिहार को सांप्रदायिक उन्माद की आग में झोंकने की साजिश

    रामनवमी जुलूस की आड़ में रची गई बिहार को सांप्रदायिक उन्माद की आग में झोंकने की साजिश

    पटना। बिहार की सत्ता से बेदखली के बाद भाजपा द्वारा बिहार में राजनीतिक ध्रुवीकरण के लिए सांप्रदायिक उन्माद-उत्पात फैलाने की लगातार कोशिशें जारी हैं। रामनवमी के जुलूस की आड़ में इस बार बिहारशरीफ, सासाराम, गया आदि जगहों पर काफी सोची समझी रणनीति के तहत उन्माद फैलाया गया। बिहारशरीफ में स्थिति बेहद चिंताजनक बनी हुई है।…

  • जाति की ‘फॉल्ट लाइन’ में छटपटाता आरएसएस

    जाति की ‘फॉल्ट लाइन’ में छटपटाता आरएसएस

    नई दिल्ली। आरएसएस ने अपने शीर्ष निकाय अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की वार्षिक बैठक में जाति के प्रश्न पर 2024 के लोकसभा चुनावों तक की अपनी भावी योजना स्पष्ट कर दी है। यह तीन दिवसीय बैठक 12,13 और 14 मार्च को हरियाणा के समालखा में संपन्न हुई। आरएसएस की अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की बैठक…

  • असम व उत्तरप्रदेश : जनसंख्या नियंत्रण तो एक बहाना है

    असम व उत्तरप्रदेश : जनसंख्या नियंत्रण तो एक बहाना है

    लेखिका -नेहा दाबाड़े उत्तरप्रदेश सरकार एक विधेयक लाने की तैयारी कर रही है। उत्तरप्रदेश विधि आयोग ने “उत्तरप्रदेश जनसंख्या (नियंत्रण, स्थिरीकरण व कल्याण) विधेयक, 2021” का मसविदा जारी कर नागरिक समाज से उस पर सुझाव मांगे हैं। यह विधेयक दो बच्चों वाले परिवारों को मानक के रूप में प्रस्तावित करता है और इसमें यह प्रावधान…

  • प्रोपेगेंडा चीफ़ बोले – सोशल मीडिया का कोई माई-बाप नहीं

    प्रोपेगेंडा चीफ़ बोले – सोशल मीडिया का कोई माई-बाप नहीं

    “एक वक्त था जब शक्तिशाली प्रिंट और टेलीविजन मीडिया के मालिक और संपादक हुआ करते थे, मगर सोशल मीडिया का कोई माई-बाप नहीं है। प्रिंट और विजुअल मीडिया में पहले कुछ लोग हुआ करते थे, जिनका नियंत्रण होता था, मगर सोशल मीडिया पर किसी का कंट्रोल नहीं है। इसलिए अगर आप सचेत नहीं रहते हैं…