Thursday, April 25, 2024

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ढाई लाख रुपये भाड़ा देकर मज़दूर पहुँचे अपने घर

नई दिल्ली। ढाई लाख रुपये खर्च कर मज़दूर अपने घर पहुँचे। यह घटना पुणे की है। यूपी के सोनभद्र ज़िले के क़रीब 75 मज़दूर वहाँ काम करते थे और लॉकडाउन के शुरू होने के साथ ही वे अपने घर...

घर न लौट पाने पर सोनभद्र के मज़दूर ने की गोवा में आत्महत्या, जगह-जगह पिटाई पर वर्कर्स फ़्रंट ने कहा- ज़ुल्म से बाज आए...

लखनऊ। मोदी जी आपकी बिना तैयारी और योजना के कोरोना महामारी रोकने के किए लॉकडाउन के कारण तबाह हुए, पैदल चल रहे, रोटी मांग रहे मजदूरों को अगर आपकी सरकार घर नहीं पहुंचा सकती, खाना नहीं दे सकती तो...

किसानों के लिए तत्काल राहत कार्य शुरू करे सरकारः दारापुरी

लखनऊ। ओलावृष्टि, चक्रवात, तूफान और भीषण वर्षा से तबाह हुए किसानों को तत्काल राहत देने के संबंध में पूर्व आईजी और मजदूर किसान मंच के अध्यक्ष एसआर दारापुरी ने मुख्यमंत्री को ईमेल से पत्र भेजा है। पत्र में दारापुरी...

सार्वजनिक स्थल पर हो अपराध तो ही लागू होगा एससी/एसटी एक्टः इलाहाबाद हाईकोर्ट

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कहा है कि एससी/एसटी एक्ट के तहत कोई मामला तभी बनता है जब अपराध सार्वजनिक स्थल पर किया गया हो, जिसे लोगों ने देखा हो। बंद कमरे में हुई घटना में एससी/एसटी एक्ट की धारा प्रभावी नहीं...

आदिवासी ग्रामीण पी रहे फ्लाई ऐश के चुआड का पानी, मामला सीएम कार्यालय पहुंचा

अनपरा, सोनभद्र। बेलवादह गांव के कैम्हा टोला के खरवार आदिवासियों द्वारा अनपरा तापीय परियोजना से निकली फ्लाई ऐश के पानी को चुआड से पीने का मामला सीएम कार्यालय पहुंच गया है। स्वराज अभियान नेता दिनकर कपूर के पत्र पर...

सरकारी खजाने में सबसे ज्यादा पैसा देने वाले सोनभद्र और मिर्जापुर के लोग खा रहे हैं घास, पत्तियां और चकवड़

उत्तर प्रदेश के सोनभद्र, मिर्जापुर, चंदौली विशिष्ट इलाके रहे हैं। यह इलाका संघर्ष और जनांदोलन का विभिन्न स्वरूप अख्तियार करता रहा है। इनमें से दो जिलों सोनभद्र और चंदौली को भारत सरकार के नीति आयोग ने देश के सर्वाधिक पिछड़े जिलों के रूप में...

बहुजन राजनीति को अलविदा कहने का वक्त

(स्वराज अभियान की राष्ट्रीय कार्यसमिति के सदस्य अखिलेंद्र प्रताप सिंह ने 29 सितंबर को सोनभद्र, मिर्जापुर और चंदौली के जिला कार्यकर्ताओं को संबोधित किया। पेश है उनका पूरा संबोधन- संपादक) 90 के दशक से शुरू हुई बहुजन राजनीति अपने चरित्र...

सोनभद्र में आयोजित मजदूर-किसान मंच के सम्मेलन में उठी भूमि आयोग के गठन की मांग

सोनभद्र। आज यदि आरएसएस-भाजपा इतनी ताकतवर होकर उभरी हैं और देश में तानाशाही थोप रही हैं तो इसकी जिम्मेदारी सपा-बसपा-लालू मार्का कॉरपोरेट-सामंत परस्त बहुजन राजनीति को भी जाती है। 90 के दशक से शुरू हुई इस बहुजन राजनीति ने कभी भी मजदूर...

संसाधनों की लूट, नफरत व देश को बर्बाद करने वाली राजनीति को नेस्तनाबूत कर देंगे: दीपंकर भट्टाचार्य

लखनऊ/सोनभद्र। भाजपा आदिवासियों-दलितों से जल-जंगल-जमीन पर उनके पुश्तैनी अधिकारों को छीन लेना चाहती है। यह बात भाकपा (माले) के राष्ट्रीय महासचिव कॉमरेड दीपंकर भट्टाचार्य ने सात सितंबर को राबर्ट्सगंज (सोनभद्र) कचहरी परिसर में आयोजित आदिवासी अधिकार सम्मेलन में कही। उम्भा नरसंहार के...

जमीन का मसला हल नहीं हुआ तो बार-बार होते रहेंगे “सोनभद्र कांड”: जांच रिपोर्ट

(27 जुलाई 2019 को बनारस से नागरिक समाज और सामजिक कार्यकर्ताओं की एक जांच टीम सोनभद्र पहुंची। जांच टीम ने घटनास्थल का दौरा किया और पीड़ित परिवारों से मुलाकात की और फिर अपनी रिपोर्ट सार्वजनिक की। पेश है पूरी...

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सुप्रीम कोर्ट ने कहा चुनाव आयोग पर हमारा नियंत्रण नहीं, ईवीएम वीवीपैट पर फैसला सुरक्षित

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को ईवीएम वीवीपैट केस में फैसला सुरक्षित रख लिया। सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार 24 अप्रैल को कहा कि वह...