तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा ने अडानी समूह के अध्यक्ष गौतम अडानी पर सनसनीखेज आरोप लगाए हैं। महुआ मोइत्रा ने कहा कि गौतम अडानी ने समझौते के लिए पिछले तीन वर्षों में “दो लोकसभा सांसदों के जरिए” दो बार उनसे संपर्क किया। हालांकि, महुआ ने उन दो सांसदों का नाम नहीं बताया जिन्होंने कथित तौर पर अडानी की ओर से उनसे संपर्क किया था।
कैश-फॉर-क्वेरी विवाद के बाद इंडिया टुडे से बात करते हुए महुआ मोइत्रा ने कहा, “अडानी ने पिछले तीन वर्षों में दो लोकसभा सांसदों के माध्यम से मुझसे संपर्क किया है ताकि वे उनके साथ मेज पर बैठ सकें और समाधान निकाल सकें। मैंने डील से इनकार कर दिया है। मुद्दा यह है कि वह सवाल न करने के लिए नकद दे रहे थे।”
महुआ मोइत्रा ने कहा कि उन्होंने अडानी द्वारा दिए गए सौदे के प्रस्ताव से इनकार कर दिया। महुआ मोइत्रा ने कहा, “मैं उनसे कभी नहीं मिली, इसलिए मुझे नहीं पता कि वह पेशकश क्यों कर रहे थे या क्या कीमत चुका रहे थे।”
तृणमूल सांसद ने आरोप लगाया कि पिछले हफ्ते उनसे दोबारा संपर्क किया गया और उन्हें “चुप रहने” के लिए कहा गया।
महुआ ने कहा कि “मुझे संदेश दिया गया था- ‘कृपया इसे समाप्त करें। कृपया चुनाव खत्म होने तक छह महीने तक चुप रहें। बाद में सब कुछ ठीक हो जाएगा। अगर आप अडानी पर हमला करना चाहती हैं, तो भी आप इसे थोड़ा सा कर सकती हैं, लेकिन कम से कम प्रधानमंत्री का नाम मत लीजिए”।
दरअसल भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई, जिसमें उन पर संसद में सवाल उठाने के लिए रिश्वत लेने का आरोप लगाया गया है। निशिकांत दुबे ने आरोप लगाया है कि महुआ मोइत्रा नकदी और उपहार के बदले व्यवसायी दर्शन हीरानंदानी के इशारे पर संसद में सवाल पूछती रही हैं। इस आरोप के बाद महुआ मोइत्रा लोकसभा आचार समिति की जांच के दायरे में हैं।
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