Friday, April 26, 2024

वर्धा स्थित हिंदी विवि के विद्यार्थियों ने चंडीगढ़ विवि की आंदोलनरत छात्राओं के समर्थन में निकाला मार्च

महात्मा गाँधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा में चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी में छात्राओं के आपत्तिजनक विडियों लिक होने के प्रकरण में आंदोलनरत छात्राओं के आंदोलन के दमन के विरोध और लखीमपुर में दो दलित बहनों के साथ बालात्कार के बाद हत्या कर दिए जाने की घटना के विरोध में 20 सितम्बर को हिंदी विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों के द्वारा एकजुटता मार्च व प्रतिरोध सभा का आयोजन किया गया।

विश्वविद्यालय के सावित्री बाई फुले छात्रावास से विद्यार्थियों के द्वारा विभिन्न नारे लगाते हुए – छात्राओं के साथ हो रही यौन उत्पीड़न के गतिविधियों पर रोक लगाओ, विश्वविद्यालय में लोकतांत्रिक माहौल कायम करो, GSCASH कमेटी का गठन करो, लखीमपुर के मामले की जाँच कर दोषियों पर कार्यवाही करो, चंडीगढ़ विश्वविद्यालय की छात्राओं के समर्थन में आगे आओ आदि के साथ मार्च किया गया जो कि समता भवन (अम्बेडकर प्रतिमा स्थल) पर पहुँचकर एक प्रतिरोध सभा में तब्दील हो गया।

धरना स्थल पर छात्र-छात्राएं

सभा में वक्ताओं ने अपनी बात रखते हुए चंडीगढ़ विश्वविद्यालय की छात्राओं के साथ एकजुटता जाहिर की व चंडीगढ़ विश्विविद्यालय प्रशासन और पंजाब सरकार पर विभिन्न सवाल खड़ा किया। उत्तर-प्रदेश के लखीमपुर जिले में दो दलित बहनों को अपरहण कर उनका समूहिक बालात्कार कर हत्या दिए जाने की घटना की भी कड़े शब्दों में भर्त्सना करते हुए, राज्य की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाया। उत्तर-प्रदेश में लगातार दलित और महिलाओं के साथ हिंसा और यौन-उत्पीड़न की घटनाये बढ़ती जा रही है इन सभी बातों पर प्रकाश डाला। इन सभी घटनाओं के लिए उत्तर प्रदेश की योगी सरकार को जिम्मेदार ठहराया।

साथ ही हिंदी विश्वविद्यालय में महिला सेल के निष्क्रिय कार्यविधि की तरफ ध्यान आकृष्ट करवाते हुए सवाल खड़ा किया कि कुछ समय पूर्व हिंदी विश्वविद्यालय में पुरुष मेस कर्मी के द्वारा लड़कियों के आपत्तिजनक तस्वीरें खीचना और विश्वविद्यालय प्रशासन के द्वारा पूरे प्रकरण को रफादफा कर दोषियों पर कार्यवाही से मुक्त करना प्रशासन और कथित महिला सेल की भूमिका पर सवाल खड़ा किया। विश्वविद्यालय में विद्यार्थियों को एक सुरक्षित माहौल मुहैया करने के उद्देश्य से विश्वविद्यालय में जीएस कैश के विभिन्न प्रावधानों को लागू किये जाने की बात की गई। सभा का  संचालन रामचंद्र ने किया। मार्च और प्रतिरोध सभा में मुख्य रूप से विश्वविद्यालय के 50-60 छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।

– वर्धा से स्वत्रंत पत्रकार राजेश सारथी की रिपोर्ट

जनचौक से जुड़े

0 0 votes
Article Rating
Subscribe
Notify of
guest
0 Comments
Inline Feedbacks
View all comments

Latest Updates

Latest

AICCTU ने ऐप कर्मियों की मांगों को लेकर चलाया हस्ताक्षर अभियान, श्रमायुक्त को दिया ज्ञापन।

दिल्ली के लाखों ऐप कर्मचारी विषम परिस्थितियों और मनमानी छटनी से जूझ रहे हैं। उन्होंने कम प्रति ऑर्डर रेट, अपर्याप्त इंसेंटिव्स, और लंबे कार्य समय के खिलाफ दिल्ली भर में हस्ताक्षर अभियान चलाया। ऐप कर्मचारी एकता यूनियन ने बेहतर शर्तों और सुरक्षा की मांग करते हुए श्रमायुक्त कार्यालय में ज्ञापन दिया।

ग्राउंड रिपोर्ट: पुंछ में केसर उत्पादन की संभावनाएं बढ़ीं

जम्मू के पुंछ जिले में किसान एजाज़ अहमद पांच वर्षों से केसर की सफल खेती कर रहे हैं, जिसे जम्मू विश्वविद्यालय ने समर्थन दिया है। सरकार से फसल सुरक्षा की मांग करते हुए, अहमद पुंछ को प्रमुख केसर उत्पादन केंद्र बनाना चाहते हैं, जबकि महिला किसानों ने भी केसर उत्पादन में रुचि दिखाई है।

ग्राउंड रिपोर्ट: बढ़ने लगी है सरकारी योजनाओं तक वंचित समुदाय की पहुंच

राजस्थान के लोयरा गांव में शिक्षा के प्रसार से सामाजिक, शैक्षिक जागरूकता बढ़ी है। अधिक नागरिक अब सरकारी योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं और अनुसूचित जनजाति के बच्चे उच्च शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं। यह प्रगति ग्रामीण आर्थिक कमजोरी के बावजूद हुई है, कुछ परिवार अभी भी सहायता से वंचित हैं।

Related Articles

AICCTU ने ऐप कर्मियों की मांगों को लेकर चलाया हस्ताक्षर अभियान, श्रमायुक्त को दिया ज्ञापन।

दिल्ली के लाखों ऐप कर्मचारी विषम परिस्थितियों और मनमानी छटनी से जूझ रहे हैं। उन्होंने कम प्रति ऑर्डर रेट, अपर्याप्त इंसेंटिव्स, और लंबे कार्य समय के खिलाफ दिल्ली भर में हस्ताक्षर अभियान चलाया। ऐप कर्मचारी एकता यूनियन ने बेहतर शर्तों और सुरक्षा की मांग करते हुए श्रमायुक्त कार्यालय में ज्ञापन दिया।

ग्राउंड रिपोर्ट: पुंछ में केसर उत्पादन की संभावनाएं बढ़ीं

जम्मू के पुंछ जिले में किसान एजाज़ अहमद पांच वर्षों से केसर की सफल खेती कर रहे हैं, जिसे जम्मू विश्वविद्यालय ने समर्थन दिया है। सरकार से फसल सुरक्षा की मांग करते हुए, अहमद पुंछ को प्रमुख केसर उत्पादन केंद्र बनाना चाहते हैं, जबकि महिला किसानों ने भी केसर उत्पादन में रुचि दिखाई है।

ग्राउंड रिपोर्ट: बढ़ने लगी है सरकारी योजनाओं तक वंचित समुदाय की पहुंच

राजस्थान के लोयरा गांव में शिक्षा के प्रसार से सामाजिक, शैक्षिक जागरूकता बढ़ी है। अधिक नागरिक अब सरकारी योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं और अनुसूचित जनजाति के बच्चे उच्च शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं। यह प्रगति ग्रामीण आर्थिक कमजोरी के बावजूद हुई है, कुछ परिवार अभी भी सहायता से वंचित हैं।