Tag: लोकतंत्र

  • ‘किसानों के मुद्दे पर भारत की स्थिति परेशान करने वाली’- अमेरिकी सांसदों ने जताई चिंता

    ‘किसानों के मुद्दे पर भारत की स्थिति परेशान करने वाली’- अमेरिकी सांसदों ने जताई चिंता

    पीटीआई के मुताबिक भारतीय मूल की अमेरिकी सांसद प्रमिला जयपाल समेत अमेरिका के सात प्रभावशाली सांसदों ने विदेश मंत्री माइक पोंपियो को 23 दिसंबर को पत्र लिखकर अनुरोध किया है कि भारत में किसान आंदोलन के मुद्दे को वह अपने भारतीय समकक्ष के सामने उठाएं। भारत ने किसानों के प्रदर्शन के बारे में विदेशी नेताओं…

  • किसानों से डरी सरकार ने कोविड को बनाया बहाना, संसद का शीतकालीन सत्र किया रद्द

    किसानों से डरी सरकार ने कोविड को बनाया बहाना, संसद का शीतकालीन सत्र किया रद्द

    पश्चिम बंगाल, तमिलनाड़ु में भाजपा ताबड़तोड़ रैलियां और रोड शो कर रही है। इन रैलियों और रोड शो में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा शामिल हो रहे हैं। पूरे देश में शादी समारोह हो रहे हैं। पूरे देश में धार्मिक समारोह हो रहे हैं। पूरे देश में राजनीतिक…

  • किसान आंदोलन के समर्थन में पूर्व नौकरशाहों के समूह ने लिखा खुला पत्र

    किसान आंदोलन के समर्थन में पूर्व नौकरशाहों के समूह ने लिखा खुला पत्र

    पूर्व प्रशासनिक अधिकारियों (आईएएस, आईपीएस, आईएफएस) के एक समूह ‘सीसीजी’ ने किसान आंदोलन को लेकर एक खुला पत्र लिखा है। पत्र में 78 पूर्व नौकरशाहों के हस्ताक्षर हैं। पत्र की शुरुआत में नौकरशाहों के समूह (CCG) का परिचय देते हुए लिखा गया है, “हम अखिल भारतीय और केंद्रीय सेवाओं से संबंधित पूर्व सिविल सेवकों के…

  • दुनिया की मशहूर पत्रिका ‘द इकोनॉमिस्ट’ ने कहा- मोदी भारत में खत्म कर रहे हैं लोकतंत्र

    दुनिया की मशहूर पत्रिका ‘द इकोनॉमिस्ट’ ने कहा- मोदी भारत में खत्म कर रहे हैं लोकतंत्र

    पौने दो सौ साल पुरानी लंदन की द इकोनॉमिस्ट (The Economist) ने अपने ताज़ा अंक में भारत पर एक लंबी रिपोर्ट प्रकाशित की है, जिसमें कहा गया है कि नरेंद्र मोदी भारत में लोकतंत्र ख़त्म कर रहे हैं। दूसरी ओर नीति आयोग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीइओ) अमिताभ कांत को भारत का लोकतंत्र पसंद नहीं…

  • क्या भारत को इंतजार है लोकतंत्र की बड़ी लड़ाई का?

    क्या भारत को इंतजार है लोकतंत्र की बड़ी लड़ाई का?

    इस बार संसद के शीतकालीन सत्र के नहीं होने के आसार हैं। सत्र के स्थगित होने जैसे मुद्दे को मीडिया और राजनीतिक पार्टियों ने जरूरी गंभीरता से नहीं लिया है। अगर गौर से देखें तो लोकतंत्र की नींव हिलाने का प्रोजेक्ट पूरी तैयारी से चालू है। संस्थाएं, जांच एंजेंसियां, अदालतें तथा सिवलि सेवा- डरे मेमनों…

  • नेहरू की बनाई नींव पर खड़ी हुई भारतीय लोकतंत्र की बुलंद इमारत

    नेहरू की बनाई नींव पर खड़ी हुई भारतीय लोकतंत्र की बुलंद इमारत

    एक बार नेहरू से किसी ने पूछा कि भारत के लिए उनकी विरासत क्या होगी, तो उन्होंने उत्तर दिया, “यकीनन स्वयं पर शासन करने में सक्षम चालीस करोड़ लोग।” ये लोकतंत्र पर नेहरू का दृढ़विश्वास ही था। महत्वपूर्ण मुद्दों को समझने तथा सुविचारित विकल्प का उपयोग करने की गरीबों तथा निरक्षरों की क्षमता पर नेहरू…

  • लोकतंत्र का पतन और जो बाइडेन की जीत

    लोकतंत्र का पतन और जो बाइडेन की जीत

    मशहूर अमेरिकी लेखक कर्ट वॉनगट कहा करते थे- ‘अमेरिका में दो वास्तविक राजनीतिक दल हैं, विजेता तथा पराजित’ लेकिन यह पुरानी बात हो गई। इस बार नारीवादी समाजशास्त्री और दार्शनिक जुडिथ बटलर ने वोट डालने के बाद जो बात कही वह ध्यान देने योग्य है। जूडिथ ने कहा- “जब हमने इस बार मतदान किया तो…

  • एग्जिट पोलः बिहार में ‘मोदीशाही’ से मुक्त होने पर मुहर

    एग्जिट पोलः बिहार में ‘मोदीशाही’ से मुक्त होने पर मुहर

    बिहार विधानसभा चुनाव के अंतिम चरण का मतदान पूरा होने पर ज्यादातर एग्जिट पोल में राष्ट्रीय जनता दल (राजग) के नेतृत्व वाले महागठबंधन को सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) से आगे अथवा कड़ी टक्कर में दिखाया है। महागठबंधन के नेताओं-कार्यकर्ताओं में स्वाभाविक ख़ुशी की लहर है। आरएसएस-भाजपा के फासीवाद से त्रस्त लोकतंत्रवादी और धर्मनिरपेक्ष नागरिक…

  • बहुसंख्यक सनातनी भारतीय लोकतंत्र के लिए बन गए हैं गंभीर खतरा

    बहुसंख्यक सनातनी भारतीय लोकतंत्र के लिए बन गए हैं गंभीर खतरा

    हाथरस गैंगरेप, हत्या और बाबरी मस्जिद गिराए जाने पर आया अदालत का फैसला क्या आपस में कहीं जुड़ता है? दोनों घटनाओं को अगर तथाकथित महान भारतीय लोकतंत्र के संदर्भ में देखें तो जुड़ता है और इन दोनों ही घटनाक्रमों ने इस कथित लोकतंत्र के लिए गंभीर चुनौतियां पेश कर दी हैं। हाथरस गैंगरेप में न…

  • यक़ीनन, अबकी बार बिहार पर है संविधान बचाने का दारोमदार

    यक़ीनन, अबकी बार बिहार पर है संविधान बचाने का दारोमदार

    संघियों का एक ही एजेंडा है कि सांसद और विधानसभाओं को ख़रीदकर या सैद्धान्तिक रूप से ध्वस्त करके भारतीय लोकतंत्र और संविधान को पूरी तरह से संघ का ग़ुलाम बनाना! यही हिन्दू-राष्ट्र की वो परिकल्पना है जिसका ख़्वाब सावरकर और दीनदयाल ने देखा था। हिन्दुत्व की अफ़ीम चाटकर बैठे सवर्ण हिन्दुओं के लिए इसी एजेंडा…