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संस्कृति-समाज

जनता का गीत जनता के बीच उपजता हैः गदर

(क्रांतिकारी गीत, गायन और उसकी प्रस्तुति को एक नई ऊंचाई तक ले जाने वाले गदर ने अपने नाम से कम ही रचनाएं की। उन्होंने बहुत [more…]

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राजनीति

जब भी जनता के गीत गाए जाएंगे, क्रांतिकारी जन गीतकार गदर याद आएंगे

मैंने गदर को जेएनयू के गंगा ढाबा के सामने गाते हुए पहली बार सुना था। संभवतः 2003 की बात है। पैरों में घुंघरू बांधे, ऊपर [more…]