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राज्य

ग्राउंड रिपोर्ट: कुमाऊंनी बोली और भाषा से कैसे जुड़ेगी नई पीढ़ी?

“बेडू पाको बारो मासा, नारायण! काफल पाको चैता मेरी छैला” (बेडू तो बारह माह पकते हैं, लेकिन काफल तो केवल चैत माह में ही पकता है) उत्तराखंड [more…]