Author: डॉ. सिद्धार्थ
मुश्किल तो अपने समय के सैकड़ों भगत सिंह के साथ खड़ा होना है- संदर्भ भगत सिंह शहादत दिवस
पहली बात कि भगत सिंह का मानना था कि ब्रिटिश साम्राज्य भारत के बहुसंख्यक लोगों के हितों के खिलाफ है। ध्यान रहे बहुसंख्यक न कि [more…]
महाड़ सत्याग्रह दिवस: पूर्वांचल में आज भी दलित अपने अधिकार के मुताबिक व्यवहार करना शुरू कर दें तो हर गांव महाड़ बन जाएगा
आज भी यदि दलित अपने सामान्य नागरिक अधिकारों को अमल में लाना शुरू कर दें, तो भारत के अधिकांश गांवों में हिंसा का वैसा ही [more…]
क्या है, त्रिभाषा फार्मूला, क्यों नरेंद्र मोदी सरकार इसे तमिलनाडु पर हर-हाल में थोपना चाहती है?
नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार और एम. के स्टालिन के नेतृत्व वाली तमिलनाडु सरकार के बीच एक के बाद एक किसी न किसी [more…]
आखिर किन वजहों से जेलेंस्की को बड़बोलापन बंद कर, ट्रंप के सामने करना पड़ा आत्मसमर्पण
आखिर जेलेंस्की ने बड़बोलापन बंद करके ट्रंप के सामने आत्मसमर्पण कर दिया। उन्होंने कल कहा कि हम ट्रंप के मजबूत नेतृत्व में काम करने के [more…]
‘महाकुंभ’ में डुबकी न लगाने का साहस कर, राहुल गांधी ने वह काम कर दिखाया, जिसकी हिम्मत नेहरू-गांधी भी नहीं जुटा पाए थे
मानव जाति के इतिहास में दो तरह के नेता हुए हैं, एक तरह के वे जो जनता की पिछड़ी भावनाओं, आस्थाओं, यहां तक कि अंधविश्वासों [more…]
क्या ट्रंप जेलेंस्की और मोदी की तरह पुतिन और शी जिंपिंग को अपने दरबार में हाजिर होने के लिए बुला सकते हैं?
दुनिया में किसी देश के शीर्ष प्रमुख की अपनी औकात क्या होगी, उसके साथ कैसा व्यवहार किया जाएगा, यह आप के बड़बोलेपन या हांकने पर [more…]
बजट 2025: नरेंद्र मोदी सरकार कैसे दलितों-आदिवासियों और पिछड़ों को ठग रही है
आरएसएस ने पहले द्विज-सवर्ण नेताओं को आगे करके भारत की सत्ता पर कब्जा करने की कोशिश किया, वह कमोबेश असफल रहा। जनसंघ से लेकर भाजपा [more…]
शहीद जगदेव बाबू: वर्ण-जातिवादी समाज में सच्ची वर्गीय-मार्क्सवादी दृष्टि सम्पन्न चिंतक-विचारक और शहीद
मेहनतकश बहुजन समाज में 2 फरवरी, 1922 को जन्मे जगदेव प्रसाद जितने बड़े क्रांतिकारी नेता और संगठनकर्ता थे, उतने ही बड़े चिंतक-विचारक भी थे। वे [more…]
गांधी के शहादत दिवस को गोडसे-सावरकरवादियों के खिलाफ वैचारिक अभियान के रूप में मनाया जाना चाहिए
मुसलमान और पाकिस्तान के खिलाफ नफरत से भरे नाथूराम गोडसे ने 30 जनवरी, 1948 को गांधी की हत्या कर दी। यह जगजाहिर तथ्य है कि [more…]
राम मंदिर पर मोहन भागवत के बयान के मायने
मोहन भागवत जी, आपके लिए रामंदिर प्राण प्रतिष्ठा दिवस (22 जनवरी) सच्ची स्वतंत्रता का दिवस होगा, हमारे लिए यह ब्राह्मणवाद के विजय, धर्मनिपेक्षता के अंत [more…]