Monday, March 27, 2023

सांप्रदायिकता और निजीकरण सामाजिक न्याय के सबसे बड़े विरोधी

Janchowk
Follow us:

ज़रूर पढ़े

636273967673538068
जनचौक ब्यूरो

भागलपुर। स्थानीय वृंदावन परिणय स्थल, लहेरी टोला में एक दिवसीय सामाजिक न्याय सम्मेलन को संबोधित करते हुए मुख्य वक्ता वरिष्ठ पत्रकार-बुद्धिजीवी अनिल चमड़िया ने कहा कि जातिवादी होकर सामाजिक न्याय की लड़ाई को आगे नहीं बढ़ाया जा सकता है। सामाजिक न्याय उत्पीड़नकारी जातिव्यवस्था को तोड़ने के रास्ते से ही आगे बढ़ सकता है।

उन्होंने कहा कि सामाजिक न्याय के नेताओं लालू-नीतीश-मुलायम-मायावती जैसों ने सत्ता हासिल करने के बाद सामाजिक न्याय के मोर्चे पर काम नहीं किया। अब ये सारे नेता सवर्णों को आरक्षण देने की बात करने लगे हैं। जबकि दलितों-अतिपिछड़ों-पिछड़ों के सत्ता व शासन की संस्थाओं में संख्यानुपात में प्रतिनिधित्व का सवाल हल नहीं हुआ है।

उन्होंने कहा कि 1990 में पिछड़ों को आरक्षण मिलते ही राम रथ यात्रा शुरू हो गया तो दूसरी तरफ निजीकरण की शुरुआत हो गयी। सांप्रदायिकता व निजीकरण सामाजिक न्याय विरोधी है।

अनिल चमड़िया ने कहा कि सामाजिक न्याय का रास्ता रोकने के लिए ही राजनीति का हिंदूकरण और हिंदुओं का सैन्यीकरण किया जा रहा है। यह लंबे समय से चल रहा है। हिन्दुओं के सैन्यीकरण की ही अभिव्यक्ति मॉब लिंचिंग के रूप में हो रही है।

 उन्होंने कहा कि आरएसएस-भाजपा को शिकस्त देने के लिए व्यापक दृष्टि के साथ सामाजिक न्याय आंदोलन को आगे बढ़ाना होगा। सम्मेलन को संबोधित करते हुए दलित मुसलमानों के जीवन हालात पर अध्ययन व लेखन से जुड़े बुद्धिजीवी अयूब राईन ने कहा कि मुसलमानों का एक बड़ा हिस्सा दलितों जैसे हालात में है, लेकिन उन्हें एसी कैटगरी में शामिल नहीं किया गया है। दलित मुसलमानों के लिए भी सामाजिक न्याय की लड़ाई लड़ी जानी चाहिए।

अब-सब मोर्चा के हरिकेश्वर राम ने कहा कि सामाजिक न्याय के व्यापक एजेंडा पर सामाजिक-राजनीतिक गोलबंदी के जरिए ही भाजपा-आरएसएस को पीछे धकेला जा सकता है। अध्यक्षता कर रहे न्याय मंच के अर्जुन शर्मा ने 26 नवंबर-संविधान दिवस पर पटना के दारोगा प्रसाद राय ट्रस्ट हॉल में आयोजित सामाजिक न्याय सम्मेलन में भारी तादाद में जुटने का आह्वान किया।

बुद्धिजीवी प्रो. प्रेम प्रभाकर ने भी संबोधित किया। सम्मेलन का संचालन सोशलिस्ट युवजन सभा के गौतम कुमार प्रीतम  ने किया। संबोधित करने वाले अन्य लोगों में जनसंसद के रामानंद पासवान, जेएनयू छात्र नेता वीरेंद्र, ज्वाइंट एक्शन कमेटी के रिंकु, पीएसओ के अंजनी, मानस, सोनम राव, मिथिलेश विश्वास, वंचित समाज विकास मंच के नवीन प्रजापति, जनसंसद के अशोक कुमार गौतम, सोशलिस्ट युवजन सभा के अभिषेक आनंद, अनुपम आशिष, हाईकोर्ट के अधिवक्ता अभिषेक आनंद, अबसब मोर्चा के विष्णु देव मोची, रामप्रवेश राम, जमशेद आलम, गणेश सिंह कुशवाहा, राजेश यादव, गिरजाधारी पासवान, राकेश चंद्रवंशी, विजय पासवान शामिल थे।

जनचौक से जुड़े

0 0 votes
Article Rating
Subscribe
Notify of

guest
0 Comments
Inline Feedbacks
View all comments

Latest News

उत्तराखंड: किसानों पर आफत की बारिश, बिजली गिरने से 350 बकरियां मरीं

देहरादून। जलवायु परिवर्तन के कारण मार्च के महीने में मौसम का बदलता मिजाज प्रदेश के किसानों के लिए किसी...

सम्बंधित ख़बरें