राजद्रोह कानून की संवैधानिक वैधता को एक बार फिर परखेगा सुप्रीम कोर्ट

उच्चतम न्यायालय, राजद्रोह कानून की संवैधानिक वैधता को फिर परखने के लिए तैयार हो गया है। वर्ष 1962 के केदारनाथ…

फूलमणि! कौन सुनेगा तुम्हारी दलील और अपील

विवाह के बाद पति को अपनी बालिग़ पत्नी से ‘रेप’ करने का अधिकार तो सदा से है ही। क्या अब…

योगी सरकार के लव जिहाद अध्यादेश के खिलाफ इलाहाबाद हाई कोर्ट में याचिका

इलाहाबाद उच्च न्यायालय में क‌थित ‘लव जिहाद’ के बहाने धर्मांतरण के खिलाफ पारित उत्तर प्रदेश सरकार के विवादास्पद अध्यादेश की…

किताब ‘कैदखाने का आईना’: जेल में भ्रष्टाचार ही सिस्टम है

स्वतंत्र पत्रकार और लेखक रूपेश कुमार सिंह 7 जून, 2019 से 5 दिसंबर, 2019 तक बिहार की दो जेलों में…

प्रशासन में अविश्वास को बढ़ाने का काम करेगा लव जिहाद कानून

गत वर्ष अगस्त महीने में फरीदाबाद, हरियाणा के डीसीपी विक्रम कपूर ने मातहत इंस्पेक्टर के ब्लैकमेल से तंग आकर सर्विस…

यूपी में अंतरधार्मिक शादियों पर होगा सरकार का पहरा

उत्तर प्रदेश में सोमवार को इलाहाबाद हाई कोर्ट के फैसले, कि शादी के लिए सभी को मनपसंद साथी चुनने का…

अर्णब गोस्वामी: कितनी पत्रकारिता, कितनी आजादी और कितना अपराध?

अर्णब मामले में ताजी खबर यह है कि 9 नवंबर को बॉम्बे हाई कोर्ट ने अंतरिम जमानत की उनकी अर्जी…

जीभ हाथरस की बिटिया की कटी, गूंगा हो गया सारा देश!

अब वह जमाना चला गया जब लोग बेटा होने पर खुश होते थे और बेटी होने पर मायूस हो जाते…

रोने, चीखने या मोमबत्तियां जलाने से नहीं रुकेंगे बलात्कार!

(‘कानूनी अधिकारों’ को जब जंग लग जाए, तो आंदोलन और संघर्ष की दरांती, गंडासा या खुकरी को ‘विचारों की शान’…

अदालत बनता मीडिया और बौनी होती न्याय व्यवस्था

मीडिया किसी अपराध को सनसनीखेज बनाकर खुद ही जांचकर्ता, वकील और जज बन जाता है, जबकि पुलिस अभी दूर-दूर तक…