झारखंड: पराक्रमी एवं प्रकृति प्रेमी ‘हो’ जनजाति
‘पराधीनता से अच्छी है मौत’ यह कोई फिल्मी डायलॉग नहीं है, बल्कि यह आजाद प्रकृति के दीवाने ‘हो’ जनजाति के लोगों का जीवन दर्शन है। [more…]
‘पराधीनता से अच्छी है मौत’ यह कोई फिल्मी डायलॉग नहीं है, बल्कि यह आजाद प्रकृति के दीवाने ‘हो’ जनजाति के लोगों का जीवन दर्शन है। [more…]