Friday, April 19, 2024

देश भर में महिलाओं ने उठाया सफूरा ज़रग़र का मसला, कहा- अभद्र टिप्पणी और दुष्प्रचार करने वाले कपिल मिश्रा के ख़िलाफ़ हो कार्रवाई

(सीएए आंदोलन के दौरान सक्रिय सफूरा जरगर समेत तमाम महिलाओं की रिहाई के लिए देश में आज महिलाओं अपने घरों में रहकर प्रदर्शन किया। इसमें एपवा समेत लेफ़्ट के दूसरे तमाम महिला संगठनों ने हिस्सा लिया। इस मौक़े पर एपवा की तरफ़ से प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कई मांगें की गयी हैं। पेश हैं सभी मांगें-संपादक)

नई दिल्ली। सफूरा जरग़र नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ चले आंदोलन में सक्रिय रही हैं। लॉकडाउन के दौर में सफूरा को दिल्ली में दंगा भड़काने का झूठा आरोप लगाकर गिरफ्तार कर लिया गया है। गिरफ्तारी के समय सफूरा 3 महीने की गर्भवती थीं। इसी आधार पर लोगों ने जब सफूरा को रिहा करने की मांग उठाई तो भाजपा नेता कपिल मिश्रा (जो खुद दिल्ली दंगों को भड़काने वाला भाषण देने के आरोपी हैं) ने सफूरा पर भद्दी, अश्लील यौन उत्पीड़न वाली टिप्पणी की। 

और भाजपा आईटी सेल ने सोशल मीडिया पर सफूरा का चरित्र हनन चलाया, उसके गर्भावस्था और विवाह के बारे में अश्लील दुष्प्रचार चलाया। इस दुष्प्रचार में “We Support Narendra Modi” वाला Facebook पेज की भूमिका को देख, इसे संघ और भाजपा का “ब्वॉइस लॉकर रूम” कहा जा रहा है। 

देश के प्रधानमंत्री और महिला आयोग इस पूरे मामले में कपिल मिश्रा की भूमिका पर चुप्पी साधे हुए हैं। इसलिए महिला संगठनों ने प्रधान मंत्री मोदी और राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष से सवाल करते हुए कहा है कि-

– भाजपा नेता कपिल मिश्रा द्वारा सफूरा के गर्भावस्था पर भद्दे ट्वीट पर आप चुप क्यों? उन पर कार्यवाही क्यों नहीं? 

– जहां हरे और नारंगी ज़ोन में भी गर्भवती महिलाओं से कहा जा रहा है कि वे घर में रहें, तो गर्भवती सफूरा को कोरोना के खतरे के समय तिहाड़ जेल में क्यों रखा गया?

– दिल्ली दंगों को भड़काने वाले कपिल मिश्रा गिरफ्तार क्यों नहीं? CAA विरोधी महिला आंदोलन में सक्रिय सफूरा, इशरत, गुलफिशा जेल में क्यों?

देश भर में महिलाओं ने अपने -अपने घरों में बैठकर 11 बजे से 2 बजे तक धरना दिया तथा तख्तियों, नारों, और वीडियो के जरिए इन सवालों को उठाया। इस आंदोलन में ऐपवा सहित अखिल भारतीय जनवादी महिला समिति, एन एफ आई डब्ल्यू, लोकतांत्रिक जनपहल, महिला हिंसा के विरुद्ध नागरिक पहल, मुस्लिम महिला मंच, जन जागरण शक्ति संगठन, जन आंदोलनों का राष्ट्रीय समन्वय, बिहार घरेलू कामगार यूनियन, डब्ल्यू एस एस, अ भा महिला सांस्कृतिक संगठन, ए एस डब्ल्यू एफ, स्त्री मुक्ति संगठन, बिहार महिला समाज, सब शामिल रहे। 

महिलाओं ने कहा है कि सफूरा के खिलाफ अभद्र महिला विरोधी दुष्प्रचार, हम सब महिलाओं पर हमला है। इसलिए लॉकडाउन के अंदर से ही हम सफूरा को प्यार और साझेदारी भेज रहे हैं, CAA विरोधी कार्यकर्ताओं की रिहाई मांग रहे हैं, और कपिल मिश्रा पर तुरंत कार्यवाही मांग रहे हैं।

मीना तिवारी – राष्ट्रीय महासचिव, अखिल भारतीय प्रगतिशील महिला एसोसिएशन ( ऐपवा )

रति राव, राष्ट्रीय अध्यक्ष, ऐपवा,

कविता कृष्णन, सचिव, छपवा

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