Thursday, March 28, 2024

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महान गणितज्ञ रामानुजन की सौवीं पुण्यतिथि पर विशेष: ‘वह शख्स़ जो अनंत जानता था’

वह 1913 का साल था जब श्रीनिवास रामानुजन, नामक मद्रास पोर्ट ट्रस्ट में काम कर रहे साधारण क्लर्क ने, केम्ब्रिज विश्वविद्यालय में अध्यापन कर रहे प्रोफेसर जी एच हार्डी को पत्र लिखा, जिसमें शामिल कागज़ों में उनके गणितीय प्रमेय/थियरम शामिल थे। और...

21वीं सदी में डॉ. आंबेडकर की उपस्थिति

14 अप्रैल डॉ. भीमराव आंबेडकर का जन्म दिन है। यह 19वीं शताब्दी में जन्मे, 20वीं शताब्दी में भारत के करोड़ों लोगों की मुक्ति की आवाज बन जाने वाले और 21वीं सदी में भारतीय राजनीति की धुरी बन जाने वाले...

सावधान! अंबेडकर जयंती के मौक़े पर दलितों समेत अंबेडकरवादियों को बदनाम करने की साज़िश की आशंका

कोरोना लॉक डाउन के दौरान कल यानी 14 अप्रैल को डॉक्टर अंबेडकर की जयंती है। ऐसी स्थिति में स्वाभाविक है कि बहुजन समाज या अंबेडकरवादी लोग चाहे वह किसी भी जाति से ताल्लुक रखते हों भावनावश अंबेडकर की जयंती...

बलराज साहनी की पुण्यतिथि पर विशेष: बामकसद और खूबसूरती से जी गई, बेहतरीन जिंदगी

बलराज साहनी एक जनप्रतिबद्ध कलाकार, हिन्दी-पंजाबी के महत्वपूर्ण लेखक और संस्कृतिकर्मी थे। जिन्होंने अपने कामों से भारतीय लेखन, कला और सिनेमा को एक साथ समृद्ध किया। उनके जैसे कलाकार बिरले ही पैदा होते हैं। अविभाजित भारत के रावलपिंडी में...

पुण्यतिथि पर विशेष: आधुनिक रंग समीक्षा के बेताज बादशाह थे नेमिचंद जैन

नेमिचंद जैन हिन्दी साहित्य में अकेली ऐसी शख्सियत हैं, जिन्होंने जिंदगी के मंच पर कवि-साहित्यालोचक-नाट्य आलोचक-अनुवादक-पत्रकार और संपादक जैसे मुख्तलिफ किरदारों को एक साथ बखूबी निभाया। जिस क्षेत्र में भी वे गए, उन्होंने उसे अपना बना लिया। उस पर...

जयंती पर विशेष: तत्वदर्शी संत रविदास, यानी एक समाज वैज्ञानिक रविदास

मनुष्य जब गहरी चिंतन-प्रक्रिया से गुज़रते हुए चेतना के साथ उच्चतर होता जाता है, तब उसकी आत्मा, उस परम सत्य का अहसास करती है, जिससे पूरी प्रकृति सृजित हुई है, तो वह प्रकृति के कण-कण के साथ आंदोलित हो...

मैंने अपने बेटे को खो दिया, लेकिन अब राष्ट्र को नहीं खोने दूंगी: राधिका वेमुला

हैदराबाद। मैंने अपने बच्चे को इसलिए खो दिया क्योंकि उस समय मुझे पता नहीं था कि कैसे उसे बचाया जा सकता था। लेकिन अब हम लोगों ने फैसला किया है कि हम अपने राष्ट्र को नहीं खोएंगे। हम अपने राष्ट्र को...

डबवाली अग्निकांड की बरसी (23 दिसंबर) पर विशेष: उन सात मिनटों में आज भी ठहरे हुए हैं 24 साल!

शहर महज एक बेहद हौलनाक हादसे की वजह से रहती सभ्यता तक 'मौत का शहर' कहलाते हैं और कभी न भरने वाले जख्म उसके कोने-अंतरों में स्थायी जगह बना लेते हैं तथा सदा रिसते रहते हैं। हरियाणा, पंजाब और...

गांधी को ठिकाने लगाने का संघ का नया रास्ता

कल राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जयंती के मौके पर संघ के हैंडल से कई ट्वीट किए गए। जिसका सार यह था कि भारत को विश्वगुरू बनाने में गांधी की शख्सियत का इस्तेमाल किया जा सकता है। और यह बात संघ...

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केजरीवाल की गिरफ्तारी को लेकर दुनिया भर की निगाह के मायने 

आज दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने दिल्ली में शराब आबकारी नीति में बदलाव कर 100 करोड़ रुपये लेने...