बलराज साहनी होना या बनना सबके बूते की बात नहीं और शायद इसीलिए उन सरीखी शख्सियत को जिन्हें दुनिया हमेशा याद रखेगी। इनका जन्म 1 मई 1913 को हुआ। यानी समूची दुनिया में मनाए जाते मजदूर दिवस के...
कल शाम से ही अनमयस्क की स्थिति में हूं। सोच रहा था कल गांधी जयंती होगी। मैं किस तरह से गांधी को अपने श्रद्धा सुमन अर्पित करूंगा? मैं गांधीवादी नहीं हूं ।गांधी से मेरे बहुत मतभेद हैं ।उनकी इतिहास...
मुझसे पहली सी मुहब्बत मेरी महबूब न माँग
मैंने समझा था के तू है तो दरख्शाँ है हयात
तेरा ग़म है तो ग़म-ए-दहर का झगड़ा क्या है
तेरी सूरत से है आलम में बहारों को है सबात
तेरी आँखों के सिवा दुनिया में...
जवाहरलाल नेहरू (1889 -1964) और जयप्रकाश नारायण (1902 -1979) हमारे स्वतंत्रता आंदोलन की दो ऐसी विभूतियाँ हैं , जिनमें समानता के अनेक तत्व हैं, हालांकि विभेद के भी अनेक बिंदु हैं। दोनों ने विदेशों में शिक्षा पायी और दोनों...
भगत सिंह को भारत के सभी विचारों वाले लोग बहुत श्रद्धा और सम्मान से याद करते हैं। वे उन्हें देश पर कुर्बान होने वाले एक जज़बाती हीरो और उनके बलिदान को याद करके उनके आगे विनत होते हैं। वे...
अपने जीवन के 72वें साल में प्रवेश कर रहे नरेंद्र मोदी ने सात साल पहले प्रधानमंत्री बनने के ढाई महीने बाद जब स्वाधीनता दिवस पर लाल किले से पहली बार देश को संबोधित किया था तो उनके भाषण को...
शहीद जगदेव प्रसाद कुशवाहा के जन्म दिवस 2 फरवरी से जारी अभियान के क्रम में सभाएं जारी हैं। बिहपुर प्रखंड के बिक्रमपुर, मिल्की, कठौतिया, अरसंडी सहित कई गांवों में संवाद और सभा हुई। अरसंडी में पेरियार ललई सिंह यादव...
‘मकबूल’ अदाकार इरफान खान आज जिंदा होते, तो वे अपना 54वां जन्मदिन मना रहे होते। बीते साल 29 अप्रैल को वे हमसे हमेशा के लिए जुदा हो गए थे। अदाकारी के मैदान में आलमी तौर पर उनकी जो शोहरत...
हज़ारों साल नरगिस अपनी बेनूरी पे रोती हैबड़ी मुश्किल से होता है चमन में दीदावर पैदामौलाना अबुल कलाम आज़ाद इस्लाम धर्म के प्रसिद्ध विद्वान, देशभक्त, सांप्रदायिक सद्भाव के लिए जज़्बा रखने वाले महत्वपूर्ण शख्सियत थे। वे भारतीय स्वतंत्रता संग्राम...
एक कैफ़ियत होती है प्यार। आगे बढ़कर मुहब्बत बनती है। ला-हद होकर इश्क़ हो जाती है। फिर जुनून और बेहद हो जाए तो दीवानगी कहलाती है। इसी दीवानगी को शायरी का लिबास पहना कर तरन्नुम से (गाकर) पढ़ा जाए...