रांची। मणिपुर में आदिवासी महिलाओं के साथ हुई हैवानियत के खिलाफ देश भर में लोग गुस्से का इजहार कर रहे हैं। झारखंड में आदिवासी संगठन और विपक्षी दल विरोध-प्रदर्शन आयोजित कर प्रधानमंत्री मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह का पुतला दहन कर अपने गुस्से का इजहार रहे हैं। आदिवासी संगठन इसे अपनी अस्मिता और पहचान पर हमला बता रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ भाजपा इस मामले में लीपापोती करती नजर आ रही है। प्रधानमंत्री मोदी यह कहकर कि इस घटना ने करोड़ों भारतीयों को शर्मसार किया है, घड़ियाली आंसू बहाकर अपनी झेंप मिटा रहे हैं।
आदिवासी संगठनों का कहना है कि मणिपुर की डबल इंजन की सरकार आदिवासियों की आबरू और अस्मिता की रक्षा करने में विफल रही है और वहां जो कुछ भी हो रहा है, वह सब-कुछ सत्ताधारी दल के इशारे पर किया जा रहा है। संगठनों का दावा है कि मैतेई समुदाय के पास जो हथियार हैं, उसमें से अधिकांश हथियार वहां की पुलिस बल से छीने गये हैं। इतनी बड़ी मात्रा में पुलिस बल से हथियारों का छीना जाना सामान्य घटना नहीं है, इसमें खुद वहां की सरकार की भूमिका है।
मणिपुर में आदिवासी समुदाय के खिलाफ लगातार हिंसा, महिलाओं के साथ गैंग रेप और नग्न घुमाये जाने तथा केंद्र सरकार व मणिपुर की राज्य सरकार की भूमिका के खिलाफ 21 जुलाई को राज्य के विभिन्न जिलों में आदिवासी संगठनों और विपक्षी दलों द्वारा विरोध प्रदर्शन आयोजित किए गए। राज्य की राजधानी रांची में स्थित जयपाल सिंह मुंडा स्टेडियम से आक्रोश मार्च निकाला गया और अल्बर्ट एक्का चौक पर आकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी तथा मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह का पुतला दहन किया गया।
इस अवसर पर लोगों को संबोधित करते हुए आदिवासी समन्वय समिति के लक्ष्मी नारायण मुंडा ने कहा कि मणिपुर में जारी हिंसा भाजपा की केंद्र सरकार और मणिपुर की बीरेन सरकार की महत्वाकांक्षी राजनीति का परिणाम है। वहां हिंसा, आगजनी, हत्या, बलात्कार और दंगों को रोकने की कोशिश कभी भी नहीं की गई। मुंडा ने कहा कि मैतई, कुकी व नगा जनता को आपस में लड़ाया गया। मणिपुर की घटनाओं के जिम्मेदार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह तथा मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह हैं। इसलिए तत्काल मणिपुर में राष्ट्रपति शासन लगाया जाना चाहिए।
आदिवासी जन परिषद के अध्यक्ष प्रेम शाही मुंडा ने कहा कि देश में चुन-चुन कर आदिवासी समुदाय के लोगों को निशाना बनाया जा रहा है। कुकी समुदाय की महिलाओं के साथ गैंग रेप और उन्हें नग्न घुमाये जाने की घटनाएं देश को शर्मसार करने वाली हैं। देश के विभिन्न राज्यों में अमानवीय घटनाएं बढ़ रही हैं।
केंद्रीय सरना समिति के अध्यक्ष अजय तिर्की ने कहा कि मणिपुर की इस हिंसा में 150 से अधिक लोग मारे गए और लगभग 3000 लोग घायल हुए हैं। फिर भी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी लंबे समय तक चुप्पी साधे रहते हैं, जबकि इस दौरान वे विदेश दौरा करते हैं, कर्नाटक में चुनाव में प्रचार करते हैं। इससे साबित होता है कि भाजपा सरकार वहां हिंसा, बलात्कार, दंगा, बलवा का तांडव रचा कर राजनीतिक रोटी सेंक रही है। कार्यक्रम में ‘आदिवासी जन परिषद’, ‘केंद्रीय सरना समिति’, ‘आदिवासी सेना’, ‘केंद्रीय सरना संघर्ष समिति’ सहित दर्जनों आदिवासी संगठन शामिल थे।
आदिवासी संगठनों के नेताओं का कहा कि है कि देश में ‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ का नारा दिया जा रहा है। वहीं दूसरी तरफ मणिपुर में महिलाओं की निर्वस्त्र परेड करायी जा रही है, सामूहिक बलात्कार किया जा रहा है, दरिन्दगी की हद पार कर उनके शरीर को नोचा खसोटा जा रहा है। और इसका विरोध करने पर उनके परिवार के लोगों की हत्या कर दी जा रही है। लेकिन देश के प्रधानमंत्री चुप्पी साधे रहते हैं और जब पूरे मामले का वीडिओ वायरल होता है तब वे घड़ियाली आंसू बहाने का नाटक करते हैं।
सड़क पर उतरे राजनीतिक दल
झामुमो के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने सड़कों पर उतर कर विरोध प्रदर्शन किया। रांची के अलबर्ट एक्का चौक पर प्रदर्शन करते हुए मणिपुर सरकार का पुतला फूंका। नेताओं ने मणिपुर सरकार को बर्खास्त की मांग करते हुए कहा कि मणिपुर की घटना से बीजेपी का चाल और चरित्र उजागर हो गया है।
युवा राजद ने अल्बर्ट एक्का चौक पर मणिपुर के सीएम का पुतला फूंकते हुए उनके इस्तीफे की मांग की।
कांग्रेस ने रांची में प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर के नेतृत्व में केंद्र सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि बीजेपी की नारी शक्ति का दावा खोखला साबित हो रहा है। महिला कांग्रेस ने भी केंद्र सरकार के खिलाफ हल्ला बोला।
मणिपुर घटना के विरोध में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी ने भी प्रदर्शन किया। भाकपा कार्यालय से जुलूस की शक्ल में अलबर्ट एक्का चौक तक विरोध प्रदर्शन किया गया। इस मौके पर राज्य सचिव महेंद्र पाठक ने कहा कि मणिपुर की घटना ने देश को शर्मसार किया है। महिलाओं को निर्वस्त्र कर घुमाया जा रहा है, महिलाओं के साथ बदसलूकी की जा रही है।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार किस तरह से लोगों को बांट कर राजनीतिक रोटी से सेंक रही है। मणिपुर जल रहा है और सरकार मस्त है। भाकपा जिला सचिव अजय कुमार सिंह ने कहा कि लगातार आदिवासियों को बीजेपी की सरकार अपमानित कर रही है। इस मौके पर मणिपुर की सरकार को बर्खास्त कर राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की गयी।
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने जताया विरोध
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने मणिपुर में दो आदिवासी महिलाओं के साथ हुई घटना की निंदा की। उन्होंने कहा कि यह घटना देश के इतिहास में काला अध्याय के रूप में दर्ज की जाएगी। सीएम ने कहा कि मणिपुर की घटना से पहले भी दो राज्य आपस में लड़ चुके हैं। कुल मिलाकर कहा जाए कि देश हर क्षेत्र में बिखर सा गया है।
झामुमो ने बीजेपी पर साधा निशाना
मणिपुर की घटना को लेकर झामुमो के महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करके बीजेपी और पीएम मोदी पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने बाबूलाल मरांडी से भी कई सवाल पूछ डाले। उन्होंने इस घटना की निंदा करते हुए कहा कि मणिपुर में जो कुछ भी हुआ इससे पूरा देश शर्मसार हो गया है। जो भी दोषी हैं उस पर कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए।
सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि बीजेपी द्वारा प्रायोजित हिंसा हो रही है। सरकार को बर्खास्त किया जाए। संसद का मानसून सत्र के दौरान पीएम मोदी ने सावन की पवित्रता का जिक्र किया, लेकिन मात्र एक मिनट मणिपुर पर मीडिया से चर्चा की। राज्य को जलने के लिए छोड़ दिया है, जहां आपकी सरकार है। कुकी और नागा जनजाति को शर्मसार किया है।
राज्य के कई जिलों में विरोध प्रदर्शन
मणिपुर की घटना के खिलाफ झारखंड के अन्य कई जिलों में भी विरोध प्रदर्शन करके घटना की निंदा की गई और पुतला दहन किया गया। इस क्रम में झारखंड मुक्ति मोर्चा द्वारा पाकुड़ के बिरसा चौक पर विरोध प्रदर्शन के बाद मणिपुर की भाजपा सरकार और केंद्र सरकार का पुतला दहन किया गया।
इस अवसर पर झामुमो के जिला अध्यक्ष श्याम यादव ने कहा कि मणिपुर में इस प्रकार की घटना का होना भाजपा के चाल चरित्र और दोहरी नीति को दर्शाता है। इससे स्पष्ट है कि भाजपा करती कुछ है और कहती कुछ और है। मणिपुर में दो महिलाओं को निर्वस्त्र घुमाया जा रहा था और प्रधानमंत्री विदेश का दौरा कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि संसद के बाहर प्रधानमंत्री द्वारा मणिपुर की घटना पर मात्र 36 सेकंड बोलना बेहद शर्मनाक है। एक ओर मध्य प्रदेश में आदिवासियों के ऊपर भाजपा कार्यकर्ताओं के द्वारा सिर पर पेशाब करने की घटना हुई। वहीं दूसरी ओर मणिपुर में महिलाओं को निर्वस्त्र घुमाया गया, यह भाजपा के चाल चरित्र को दर्शाता है।
राज्य के सिमडेगा में भी मणिपुर में हुई महिलाओं पर हिंसा मामले को लेकर कांग्रेस जिला कमेटी ने झूलन सिंह चौक में प्रधानमंत्री और गृहमंत्री का पुतला दहन किया। इस दौरान नेताओं और कार्यकर्ताओं ने प्रधानमंत्री, गृहमंत्री और भाजपा अध्यक्ष के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।
कांग्रेस जिला अध्यक्ष डेविड तिर्की ने कहा कि देश की आदिवासी महिलाओं के साथ हुई इस अमानवीय घटना से आज पूरा देश शर्मसार है। प्रधानमंत्री और गृहमंत्री अमित शाह की चुप्पी मणिपुर हिंसा को बढ़ावा देने का कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि चाहे बिलकिस बानो रेप केस हो, कठुआ रेप केस हो, चिन्मयानंद रेप केस, हाथरस रेप कांड हो या पहलवान बेटियों का मामला हो, पीएम और गृहमंत्री की चुप्पी ही हिंसा-रेप में शामिल होने के लिए बढ़ावा दे रही हैं।
झारखंड जानतांत्रिक महासभा ने गुरुवार को जमशेदपुर के तिलका माझी चौक, डिमना में मणिपुर सरकार के खिलाफ प्रदर्शन एवं नारेबाजी की। महासभा के दीपक रंजीत ने कहा कि मणिपुर में कुकी आदिवासी ईसाई समुदाय की दो महिलाओं की निर्वस्त्र परेड कराई गयी। उनके साथ सामूहिक दुर्व्यवहार के साथ ही बलात्कार किया गया। दोषियों पर कार्रवाई की बजाय राज्य सरकार अपराधियों के साथ खड़ी है। वहीं प्रधानमंत्री इस मामले में मूकदर्शक बने हुए हैं, जो देश के लिए काफी शर्मनाक है।
इसी क्रम में राज्य के गिरिडीह में कांग्रेस और झामुमो ने अलग-अलग जुलूस और प्रदर्शन कर पीएम मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और मणिपुर के सीएम बीरेन सिंह का पुतला दहन किया।
कांग्रेस के अध्यक्ष धनजंय सिंह और कार्यकारी अध्यक्ष सतीश केडिया के नेत्तृव में नरेश वर्मा, अजय सिन्हा मंटु, समीर राज चाौधरी, ऋषिकेश मिश्रा, बिलाल अंसारी, पोरेश नाथ मित्रा, शाहनवाज अंसारी, महमूद अली खान लड्डु, राजेश तूरी, चन्द्रशेखर सिंह समेत कई कांग्रेस नेताओं ने विरोध प्रदर्शन किया और शहर भ्रमण करते हुए पीएम मोदी, गृहमंत्री और मणिपुर के सीएम के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और टावर चौक पर कांग्रेसियों ने तीनों का पुतला दहन किया।
गिरिडीह झामुमो के अध्यक्ष संजय सिंह के नेत्तृव में झामुमो कार्यकर्ताओं ने मणिपुर सीएम के खिलाफ आक्रोशपूर्ण प्रदर्शन किया। पार्टी कार्यालय से पार्टी का झंडा लिए निकले झामुमो कार्यकर्ताओं ने मणिपुर के सीएम के साथ पीएम मोदी और गृहमंत्री के खिलाफ जमकर नारेबाजी की ओर टावर चौक पहुंचकर मणिपुर के सीएम का पुतला दहन किया।
(झारखंड से विशद कुमार की रिपोर्ट)
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