जो शुरू हुआ वह खत्म भी होगा: युद्ध हो, हिंसा या कि अंधेरा
कुरुक्षेत्र में 18 दिन की कठिन लड़ाई खत्म हो चुकी थी। इस जमीन पर अब मेरी भूमिका रह गई थी। यह अंधा युग की गांधारी [more…]
कुरुक्षेत्र में 18 दिन की कठिन लड़ाई खत्म हो चुकी थी। इस जमीन पर अब मेरी भूमिका रह गई थी। यह अंधा युग की गांधारी [more…]
इब्राहीम अल्काजी दिल के दौरे की वजह नहीं रहे। मैं गांधी की शूटिंग से कुछ दिन पहले ही दिल्ली आ गई थी कि चरखा कातने [more…]
उस समय जबकि नाटक को निचले दर्जे की चीज़ माना जाता था और नाटक करने आए लड़के-लड़कियों को ‘नाचने-गाने वाले’ कहकर दूर हटाया जाता था। [more…]
भारतीय रंगमंच के दिग्गज निर्देशक इब्राहिम अलकाज़ी का आज 94 वर्ष की आयु में निधन हो गया। वे 1962 से 1977 तक राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय [more…]
11 जुलाई, प्रगतिशील और प्रतिबद्ध रचनाकार भीष्म साहनी का पुण्यतिथि दिवस है। इस मौके पर उन्हें याद करना, एक शानदार और पायदार परम्परा को याद [more…]
भारतीय रंगमंच की कोई भी चर्चा हबीब तनवीर के बिना अधूरी ही रहेगी, हबीब तनवीर पर चर्चा का मतलब रंगमंच की कई शैलियों, अभिव्यक्तियों, अस्मिताओं [more…]
आधुनिक रंगमंच में हबीब तनवीर की पहचान लोक को पुनर्प्रतिष्ठित करने वाले महान रंगकर्मी की है। छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में 1 सितम्बर, 1923 को [more…]
थियेटर और फिल्मों के अभिनेता-लेखक-कवि दोस्त अमितोष नागपाल की फेसबुक वॉल पर कुछ रंगकर्मियों की तरफ़ से एक कवितानुमा मार्मिक अपील है। ये युवा रंगकर्मी [more…]
‘‘लेखक और कलाकार आओ, अभिनेता और नाटककार आओ, हाथ से और दिमाग़ से काम करने वाले आओ और स्वंय को आज़ादी और सामाजिक न्याय की [more…]
23 मई की सुबह पंजाब में कला-साहित्य और नाटक (थिएटर) के एक ऐसे युग का अंत हो गया, जिसके साथ बेमिसाल इतिहास वाबस्ता है। उमा [more…]