पंजाब में ‘ऑपरेशन अमृतपाल सिंह’ जारी है। पुलिस उसे भगोड़ा करार दे चुकी है। अब केंद्रीय और राज्य एजेंसियों का फोकस अमृतपाल सिंह के परिजनों पर है। उसके चाचा को गिरफ्तार करके असम भेजा जा चुका है। अब अमृतपाल सिंह की पत्नी किरणदीप कौर को भी गिरफ्त में लेने की कवायद शुरू हो गई है।
किरणदीप ब्रिटेन में रहने वाली एनआरआई है और इसी साल फरवरी में उसकी शादी अमृतपाल से हुई थी। जिसके बाद से वह पंजाब में ही है। खुद अमृतपाल सिंह ने शादी के बाद कहा था कि किरणदीप कौर पंजाब में चलाई जा रही उसकी ‘मुहिम’ का हिस्सा रहेगी। यह भी सामने आ रहा है कि किरणदीप कौर ब्रिटेन से खालिस्तान के लिए फंडिंग कर रही थी।
बाकायदा एक ‘मिशन’ के तहत उसने अमृतपाल सिंह खालसा से शादी की। शादी की तारीख और जगह को पहले गुप्त रखा गया और फिर दो बार बदला गया था। यह बात खुलकर सामने नहीं आई कि शादी का आधार क्या था। लेकिन शादी दोनों परिवारों की रजामंदी से हुई थी। साल भर पहले तक अमृतपाल सिंह दुबई में था और उसके ज्यादातर करीबी रिश्तेदार भी दुबई, कनाडा और ब्रिटेन में रहते हैं।
लंदन स्थित पत्रकार मोहम्मद अली के मुताबिक, ब्रिटिश सरकार के कमीशन फॉर काउंटरिंग एक्सट्रीमिस्म की रिपोर्ट के अनुसार ब्रिटेन में खालिस्तानी समूह अलग-अलग जरियों से पैसे जुटाते हैं और भारत भेजते हैं। ब्रिटिश सरकार ने बब्बर खालसा इंटरनेशनल (बीकेआई) समेत कुछ समूहों को आतंकी संगठन घोषित किया है। बीकेआई की ही एक सदस्य किरणदीप कौर है, जो अमृतपाल सिंह की पत्नी है।
मोहम्मद अली के मुताबिक वह खालिस्तान समर्थक रैलियों और कार्यक्रमों में हिस्सा लेती रही है। एक वरिष्ठ ब्रिटिश खुफिया अधिकारी के हवाले से मोहम्मद अली बताते हैं कि इस बात के पुख्ता सबूत हैं कि किरणदीप बब्बर खालसा इंटरनेशनल के लिए धन उगाही का काम करती है। 2020 में उसे 5 लोगों के साथ आतंकवाद की साजिश में शामिल होने और बब्बर खालसा के लिए धन जुटाने के शक में गिरफ्तार किया गया था।
वह ब्रिटेन में खालिस्तानी समर्थक परमजीत सिंह पम्मा से भी जुड़ी है। परमजीत सिंह पम्मा, बब्बर खालसा का पहली कतार का नेता है। उसे 2015 में पुर्तगाल में भारत सरकार द्वारा जारी इंटरपोल वारंट पर गिरफ्तार किया गया था। बाद में उसे जमानत मिल गई, लेकिन केस चल रहा है। पुर्तगाल में गिरफ्तारी के समय परमजीत सिंह पम्मा और किरणदीप कौर संपर्क में थे।
यूके सरकार का आरोप है कि पम्मा बब्बर खालसा के लिए धन जुटाने में शामिल रहा है और उसके अलकायदा सहित दूसरे आतंकी संगठनों से संबंध हैं। हालांकि किरणदीप कौर ने पहले ही इस आरोप का खंडन कर दिया था कि वह आतंकी गतिविधियों के लिए धन जुटाती रही है लेकिन नए खुलासे और खासतौर पर अमृतपाल सिंह खालसा की फरारी के बाद से वह पंजाब पुलिस और एजेंसियों की रडार पर है। सूत्रों के मुताबिक उसे किसी वक्त भी ‘गिरफ्तार’ किया जा सकता है।
पंजाब पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार सरकार अमृतपाल सिंह खालसा के पूरे नेटवर्क को तोड़ना चाहती है। मामला अदालत तक चला गया है, इसलिए फूंक-फूंक कर कदम रखा जा रहा है। बेशक सरकार, पुलिस और एजेंसियों का दावा है कि अमृतपाल सिंह फरार होने में कामयाब हो गया लेकिन पंजाब में ज्यादातर लोग अभी भी यही मान रहे हैं कि वह ‘शिकंजे’ में है और आने वाले दिनों में सरकार उसकी गिरफ्तारी की घोषणा कर सकती है।
(अमरीक वरिष्ठ पत्रकार हैं और पंजाब में रहते हैं।)